
नई दिल्ली। अगर आपको समुद्र की लहरों से प्यार है और आप समुद्र के किनारे ही रहना चाहते हैं, तो आपके लिए एक खास कोर्स है। अगर आपको समुद्र अच्छा लगता है, समुद्री जहाज, पनडुब्बी सपने में आते हैं. आपको उनके आसपास रहना पसंद है, आप 12वीं पास कर चुके हैं या एग्जाम देने की तैयारी कर रहे हैं, तो मरीन इंजीनियरिंग कोर्स आपके लिए मुफीद हो सकता है। इसका सबसे पॉपुलर कोर्स बीटेक है। बीटेक-मरीन इंजीनियरिंग चार वर्ष का यूजी कोर्स है, जो आठ सेमेस्टर में पूरा होता है। मतलब यह हुआ कि पूरे कोर्स को आठ हिस्सों में बांटकर पढ़ाया जाता है। हर छह महीने में या यूं कहें कि हर सेमेस्टर में एक एग्जाम होता है।
बीटेक-मरीन इंजीनियरिंग देश के कई संस्थान ऑफर करते हैं, इनमें से ज्यादातर दक्षिण भारत में हैं। इसमें स्टूडेंट्स को मरीन इंजीनियरिंग के बुनियादी पहलुओं के साथ एडवांस नॉलेज देने की व्यवस्था है। कोर्स को कुछ ऐसे डिजाइन किया गया है कि चार वर्ष पढ़ने के बाद आपको बेसिक नॉलेज रहे, जिससे करियर शुरू होने पर किसी भी तरह की असुविधा का सामना न करना पड़े।
इन विषयों की दी जाती है जानकारी
कोर्स में मैटेरियल साइंस, मरीन बॉयलर, फ्लूड मैकेनिक्स, डिजाइन एंड ड्राइंग, मरीन ऑक्सीलिरी, मैनेजमेंट साइंस एंड इकोनॉमिक्स, नेवल आर्किटेक्चर, फायर कंट्रोल एंड लाइफ सेविंग, मरीन पावर प्लांट, एडवांस मरीन कंट्रोल और शिप स्ट्रक्चर एंड कंस्ट्रक्शन जैसे कई विषयों की जानकारी दी जाती है।
बीटेक-मरीन इंजीनियरिंग में प्रवेश की शर्तें
प्रवेश के लिए फिजिक्स, केमिस्ट्री और मैथमेटिक्स विषयों के साथ 12वीं पास होना आवश्यक है।
इसमें भी प्रवेश जेईई के माध्यम से होता है। लेकिन जेईई स्कोर के साथ कक्षा 12वीं में 75 प्रतिशत नंबर जरूरी है। कोर्स में प्रवेश के लिए आयु सीमा न्यूनतम 17 वर्ष और अधिकतम आयु 23 वर्ष होनी चाहिए। कुछ संस्थान अपनी प्रवेश परीक्षा भी करवाते हैं लेकिन उनमें भी 12वीं में कम से कम 60 प्रतिशत अंक अनिवार्य हैं।
बीटेक-मरीन इंजीनियरिंग के देश में उपलब्ध कुछ प्रमुख संस्थान
कोचीन विज्ञान और प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, कोच्चि
भारतीय समुद्री विश्वविद्यालय, चेन्नई
समुद्री इंजीनियरिंग और अनुसंधान संस्थान, मुंबई
सीएमसी, कोयम्बटूर
एचआईएमटी कॉलेज, चेन्नई
सीवी रमन ग्लोबल यूनिवर्सिटी, भुवनेश्वर
आईके गुजराल पंजाब तकनीकी विश्वविद्यालय, पंजाब
एमएकेएयूटी, कोलकाता